सिद्धार्थनगर:अंग्रेजीदवाओंकेकुप्रभावसेलोगजहांआयुर्वेदकीओरबड़ीउम्मीदसेनिहाररहेहैं,वहींअंग्रेजोंकेजमानेमेंस्थापितपथराबाजारकाआयुर्वेदिकअस्पतालघोरउपेक्षाकादंशझेलरहाहै।भवनकाछतटूटकरगिररहाहै।संसाधनोंकाभीटोटाहै।वर्ष1992सेसेयहांडॉक्टरभीतैनातनहींहैं,जिससेलोगोंकोकाफीकठिनाईहोरहीहै।

चिकित्सालयमेंप्रभारीफार्मासिस्टसहितचारकर्मचारीतैनातहैं।भवनकीस्थितिभीबदतरहोगईहै।छतमेंदरारेंआगईहैं।छोटे-छोटेटुकड़ेगिरनेसेछतकेअंदरडालीगईसरियादिखाईपड़नेलगीहै।कामकरनेवालेलोगडरेरहतेहैं।अस्पतालमेंसंसाधनोंकाभीअभावहै,आलमारी,कुर्सी,आदिसामानपुरानेहोचुकेहैं।पुरानेजमानेकेइसअस्पतालमेंआजभीऔसतनतीनसेचारदर्जनमरीजप्रतिदिनआतेहैं।जिनकाइलाजप्रभारीफार्मासिस्टवृजबिहारीशुक्लाकरतेहैं।विनोदअग्रहरि,हरिओमपांडे,श्रीपतिअग्रहरी,प्रधानप्रतिनिधिबालजीयादव,हरेन्द्रनाथत्रिपाठी,राजकुमारअग्रहरीआदिनेकहाकीअबहमारेजिलेकेहीस्वास्थ्यमंत्रीहैं,हमउनसेमांगकरतेहैंकिअविलंबउक्तअस्पतालमेंडॉक्टरकीनियुक्तिकरेंतथाअस्पतालभवनकाजीर्णोद्धारकराएं।

ब्रिटिशहुकूमतमेबनाथाअस्पताल

अस्पतालकानिर्माणब्रिटिशशासनकेदौरानसन1938मेंकरायागयाथा,तबयहखपरैलकेभवनमेंचलताथा।1994मेंइसेपक्कीछतमुहैयाहुई।शुरूआतमेंसैकड़ोंगांवकेलोगउक्तअस्पतालमेंइलाजकेलिएआतेथेतथामरीजोंकातांतालगारहताथा।जैसे-जैसेएलोपैथिकपद्धतिकोबढ़ावामिलतागयाजगह-जगहअस्पतालखुलतेगए,इसकापराभवहोतागया।

अस्पतालकेउच्चीकरणवबिल्डिगकेजीर्णोद्धारहेतुहमलगातारप्रयासकररहेहैंइसकेलिएशासनकोलिखागयाहै,चिकित्सककीनियुक्तिकेलिएभीमांगकीगईहै,उपलब्धताहोनेपरउक्तपुरानेअस्पतालपरडॉक्टरतैनातकिएजाएंगे।

क्षेत्रीयआयुर्वेदिकएवंयूनानीअधिकारी,सिद्धार्थनगर

By Doyle