जागरणसंवाददाता,केराकत(जौनपुर):बढ़तीजनसंख्यावकमहोतेरोजगारकेअवसरआजकेयुवाओंकेलिएएकचुनौतीबनगईहै।ऐसेमेंबेरोजगारीकादंशझेलरहेयुवाओंकेलिएकुसैलागांवनिवासीलालचंदमौर्यप्रेरणास्त्रोतबनकरउभरेहैं।नवीनतमतकनीकसेअगेतीसब्जीकीखेतीकरजहांअच्छीकमाईकररहेहैंवहींफलदार,औषधीयवशोभाकारीपौधोंकीनर्सरीतैयारकरनजीरबनगएहैं।इनकीनर्सरीमेंतैयारपौधेवाराणसी,मीरजापुर,जौनपुर,गाजीपुरवआजमगढ़कीबगियामेंलहलहारहेहैं।

इसमाडलकिसानकीबागवानीमेंदेश-विदेशकेलगभगदोहजारविभिन्नप्रजातिकेपौधेमिलतेहैं।आमऔरअमरूदकीतोदर्जनोंप्रजातिकेपौधेइनकेयहांउपलब्धरहतेहैं।इसकेअलावानीबू,नाशपाती,लीची,चीकू,मुसम्मी,संतरा,अंगूर,अमरक,चेरी,जामुन,सेवआदिप्रकारकेफलदारपौधेइनकीबगियाकीशोभाबढ़ारहेहैं।औषधीयपौधोंमेंगिलोय,अश्वगंधा,इलायची,एलोबेरा,पीपली,सतावर,शंखपुष्पी,लवंग,तेजपत्ता,अजवाइन,कालीमिर्च,करौंदाआदिभीउपलब्धहै।फूलोंकीबगियामेंइंडेनियम,एकजोरा,कलाइंची,जरबेरा,अड़हुल,डहेलिया,गुलदावरी,पनसठिया,गंधराजदेश,चंपा,टिकोमाआदिप्रजातियांअपनेसुगंधवरंगोंसेबगियाकोगमगमारहीहैं।कईबेरोजगारयुवकतोप्रतिदिनआकरपौधेखरीदतेहैंऔरनगरोंवगांवोंमेंबेचतेहैं।

लालचंदकहतेहैंकिबाल्यावस्थामेंपिताकाकासायासिरसेउठनेकेबादपांचएकड़कीखेतीविरासतमेंमिलीथीजिसपरपरंपरागतखेतीसेसिर्फखानेकाहीकामचलताथा।कभी-कभीनुकसानभीउठानापड़ताथा।मंडीमेंनईसब्जीकेभावकोदेखअगेतीखेतीकरनेकीइच्छाजगीतोभाग्यआजमाया।शुरुआतमेंपरेशानीऔरनुकसानभीहुआ,लेकिनबादमेंजबअगेतीसब्जियोंकेभावमिलनाशुरूहुएतोअच्छीआमदनीहोनेलगी।इसप्रकारकीसब्जियोंकीखेतीमेंकुछनयापनसीखनेकेजुनूनकेलिएबाहरकेप्रदेशोंमेंभीजानापड़ा।इसदौरानवहांसेबागवानीकेगुणभीसीखबागवानीकरनेलगा।हमेशाकुछनयाकरनेकीचाहहोतीहै।बतायाकिबगियामेंउगेपौधोंकोलेकरकईबारपुरस्कारमिलचुकाहै।बतायाकिबागवानीऔरपौधेदोएकड़मेंउगातेहैंजोप्रतिवर्ष15से20लाखकीसालानाआयदेतेहैं।इनदोएकड़मेंदसमजदूरहमेशालगेरहतेहैं,जोपौधोंकीदेख-रेखकरतेहैं।उन्होंनेकिसानोंकोसलाहदियाकिपरंपरागतखेतीकेसाथफलवअगेतीसब्जियोंकीखेतीकरें।

By Finch