गोरखपुर,डा.राकेशराय।बाबागोरखनाथकेदर्शनकेलिएदेशभरकेश्रद्धालुआतेहैंऔरदर्शन-पूजनकेबादपरिसरमेंघूमकरचलेजातेहैं।उन्हेंयहपताभीनहींहोताकिउन्होंनेकेवलअपनीआस्थाकोहीनहींपुष्टकियाहैबल्किवनस्पतियोंकेऐसेसंसारकोभीदेखाहै,जिसकेलिएपेड़-पौधोंकेगुणोंकेपारखीऔरशौकीनदेशमेंकहींभीचलेजातेहैं।ऐसामंदिरकीइसदृष्टिसेपहचाननहोपानेकीवजहसेहोताहै।यहपहचानदेनेकीकोशिशमेंहैगोरखपुरकेयुवावनस्पतिशास्त्रीडा.शोभितश्रीवास्तव।उन्होंनेमंदिरपरिसरमें100सेअधिकऐसेपेड़-पौधोंकीपहचानकीहै,जोआमतौरपरएकसाथनहींमिलते।इनमेंकईदुर्लभऔरऔषधीयपौधेभीशामिलहैं।इसआधारपरवहमंदिरपरिसरकोवनस्पतियोंकासंग्रहालयघोषितकररहेहैं।मंदिरप्रबंधनभीइसपरमुहरलगारहाहै।
वनस्पतिशास्त्रीडा.शोभितश्रीवास्तवनेतैयारउनकीसूची
बकौलडा.शोभितवनस्पतिविज्ञानकाछात्रहोनेकीवजहसेउन्हेंवनस्पतियोंसेखासीदिलचस्पीहै।ऐसेमेंजहांभीवनस्पतियांअधिकहोतीहैं,वहांसमयगुजरनाउन्हेंअच्छालगताहै।चूंकिगोरखनाथमंदिरपरिसरवनस्पतियोंसेभराहुआहै,ऐसेमेंजबअवसरमिलताहै,वहमंदिरमेंजानेसेनहींचूकते।जबहरबारजानेपरउन्हेंकुछनएपौधेदिखेतोउन्होंनेउनकीसूचीबनानीशुरूकरदी।थोड़ेप्रयासमेंहीवहसूची100सेअधिकपौधोंकीहोगईहै।शोभितअबमंदिरप्रबंधनसेअनुमतिलेकरउनपेड़-पौधोंकीएकपुस्तिकातैयारकरनेकीतैयारीहैं,जिसमेंउनकीप्रजातिसेलेकरगुणोंकीसंपूर्णजानकारीहोगी।महत्वपूर्णबातयहहैकिवहांलगेऔषधीयपौधोंकाव्यावसायिकइस्तेमालनहींहोता।मंदिरप्रबंधनकेमुताबिकशोधार्थियोंऔरजरूतमंदोंकेलिएयहसर्वसुलभउपलब्धहै।
नवग्रहवाटिकानेकियाविशेषप्रभावित
मंदिरपरिसरयज्ञशालाकेबगलमेंतैयारकीगईनवग्रहवाटिकानेडा.शोभितकोविशेषरूपसेप्रभावितकियाहै।इसवाटिकामेंग्रहोंपरआधारितपौधेलगाएगएहैं।यहवाटिकासांसदरहतेहुएमुख्यमंत्रीयोगीआदित्यनाथनेविकसितकीथी।इसकेप्रतिउनकाविशेषअनुरागहै।जबभीवहमंदिरआतेहैं,वाटिकामेंजरूरजातेहैं।
मंदिरपरिसरकेकुछऔषधीयपौधेऔरउनकीउपयोगिता
अतिबाला-बुखार,एलर्जी,अल्सर,खांसी,सिरदर्दआदिलोगाेंकेनिदानकेलिएउपयोगी
घोड़ातुलसी-डायबिटीज,अतिसार,पीलिया,सर्पदंशकेनिदानकेलिएउपयोगी
भूमिआंवला-लीवर,पेशाबऔरडायबिटीज,गठियाआदिकेलिएउपयोगी
हरसिंगार-खांसी,सायटिका,हड्डीटूटना,मलेरिया,त्वचासंबंधीरोगकेलिए
बालमखीरा-पेचिश,निमोनिया,पथरी,कुष्ठरोगकेलिए
अपामार्ग-घावसुखानेमें,पाचनतंत्रठीककरनेमें
विधारा-एनीमिया,मिर्गी,पेटकेकीड़े,सूजन,खांसीआदि
गोरखइमली-श्वाससंबंधीरोग,मूत्ररोग,गठिया,मुंहकीदुर्गन्धदूरकरनेकेलिए
अडूसा-मूत्रविकार,खांसीऔरमुंहकेछालोंकोदूरकरनेकेलिए
भटवास-डायबिटीजऔरपेटसंबंधीरोगदूरकरनेकेलिए
ब्रह्मलीनमहंतदिग्विजयनाथऔरमहंतअवेद्यनाथकोपेड़-पौधोंसेबहुतलगावथा।उन्होंनेखोज-खोजकरबहुतसेदुर्लभऔरऔषधीयपौधोंकोमंदिरपरिसरमेंरोपवाया।योगीआदित्यनाथतोवनस्पतियोंकेसंरक्षणकेप्रतिबेहदसंवेदनशीलहैं।अपनेगुरुओंकीपरंपराकोआगेबढ़ायाहै।इसीकानतीजाहैकिआजगोरखनाथमंदिरपरिसरवनस्पतिवाटिकाकेरूपमेंविकसितहोसकाहै।मंदिरकेपौधोंपरपुस्तिकातैयारकरनेकीइच्छारखनेवालेडा.शोभितकोमुख्यमंत्रीसेइसकेलिएअनुमतिदिलानेकाप्रयासकियाजाएगा।-द्वारिकातिवारी,सचिव,गोरखनाथमंदिरकार्यालय।