बाराबंकी:क्षेत्रकेटिकैतगंजस्थितरामलीलामैदानमेंचलरहीरामलीलामेंशनिवारकोस्थानीयकलाकारोंनेरामवनगमनकामंचनकिया।भावपूर्णमंचनदेखदर्शकोंकीआंखोंसेआंसूछलकउठे।इसकीशुरुआतअयोध्यानरेशदशरथकेराजदरबारसेहोतीहै,जहांरामकेराजतिलककीतैयारियोंचलरहीहै।

राजादशरथकोसूचनामिलतीहैकिमहारानीकैकेईनाराजहोकरकोपभवनमेंचलीगईहैं।दशरथकारणजाननेसीधेकोपभवनपहुंचतेहैंऔरकैकेईसेशुभघड़ीमेंरूठनेकीवजहपूछतेहैं।कैकेईरामकेराजतिलककाविरोधकरतीहैं।एकयुद्धकेदौरानदिएहुएवचनकीयाददिलातेहुएराजादशरथसेभरतकोराजगद्दीऔररामकोचौदहवर्षकावनवासमांगतीहैं।यहसुनकरअयोध्यानरेशविकलहोउठतेहैं।वहरानीकोमनानेकाप्रयासकरतेहैं,लेकिनरानीकीजिदआगेहारजातेहैं।जबवहराजदरबारमेंरामकोवनवासकीघोषणाकरतेहैंतोप्रजाविरोधपरउतरजातीहै।अगले²श्यमेंभगवानराम,अनुजलक्ष्मणऔरपत्नीसीताकेसाथवनकेलिएप्रस्थानकरतेहैं।इसमेंरामकीभूमिका-आशीषबाजपेई,लक्ष्मणकीअंशशुक्ला,दशरथकीरमाकांतबाजपेई,सुमंतकीअजितद्विवेदीनेनिभाई।मनीषगुप्ता,बाबूमौर्या,लवीगुप्ता,अनूपगुप्ता,निखिलबाजपेई,रमेशविश्वकर्माआदिमौजूदरहे।