गुरुदीपत्रिपाठी,प्रयागराज:पक्षियोंकाप्रजननकालहोअथवामहिलाओंमेंमातृत्वकासमय,यहनवजीवनकीतरहहोताहै।इसअवधिमेंमस्तिष्ककीसभीतंत्रिकाएंसक्रियहोजातीहैं।याददाश्तबढ़नेसेलेकरकिसीकौशलकोसीखनेकीक्षमतासबसेअच्छीहोतीहै।कहसकतेहैंछठीइंद्रियांभीसक्रियरहतीहैं।ऐसामस्तिष्ककेकेंद्रहिप्पोकैंपसकीसक्रियताबढ़नेसेहोताहै।यहतथ्यइलाहाबादकेंद्रीयविश्वविद्यालयमेंजंतुविज्ञानविभागकेप्रोफेसरकेपीसिंहकेशोधमेंसामनेआयाहै।

प्रोफेसरसिंहकेअनुसारशोधछात्राकीर्तिओझाकेसाथउन्होंनेनीलकंठकीकोरासेसबेंगालेसेसप्रजातिपरपांचवर्षतकशोधकिया।इसदौरानयहतथ्यसामनेआयाकिमई,जूनऔरजुलाईमेंहोनेवालेप्रजननकालकेदौराननीलकंठ(नरवमादा)केव्यवहारमेंकाफीबदलावहोताहै।दोनोंएक-दूसरेकोरिझातेहैं।आकाशमेंलंबीउड़ानभरकरकभीऊपरतोकभीनीचेगुलाटियांखातेहैं।इसअवधिमेंमस्तिष्ककेस्मृतिकेंद्र(हिप्पोकैंपस)काआकारबढ़जाताहै।साथहीमस्तिष्ककीतंत्रिकाएंसक्रियहोजातीहैं।इसदौराननीलकंठकोइसबातकाबखूबीअंदाजाहोताहैकिघोसलाकहांऔरकैसेबनानाहै?उसकीसुरक्षाकैसेकरनीहै।यहतथ्यभीसामनेआयाकियहसीखनेकाविशेषसमयहोताहै।इसअवधिमेंसीखीगईंचीजेंउम्रभरयादरहतीहैं।प्रोफेसरसिंहकादावाहैकिमनुष्यऔरनीलकंठकेमस्तिष्कमेंकाफीसमानताहोतीहै।इसलिएकहाजासकताहैकिऐसेहीबदलावमनुष्योंमेंभीहोतेहैं।उनकीभीयाददाश्तइसअवधिमेंबेहतरहोतीहै।यहशोधजर्मनीकेप्रतिष्ठितजर्नलजुलाजीमेंप्रकाशितहुआहै।

13नीलकंठपरहुआयहशोध

नीलकंठपरशोधसेअप्रैल2016मेंवनविभागकेलखनऊमुख्यालयस्थितउच्चाधिकारियोंसेअनुमतिमांगीगई।वहांसेअनुमतिमिलनेकेबादबहेलियेसेसंपर्ककियागया।उसनेशोधकेलिए13नीलकंठउपलब्धकराए।इन्हेंरखनेकेलिएविश्वविद्यालयमेंएवियलीहाउसबनायागया,ताकिरहन-सहनऔरस्वभावकाअध्ययनकियाजासके।फिरनीलकंठकेदिमागकीसर्जरीकीगई।मस्तिष्ककेस्मृतिकेंद्र(हिप्पोकैंपस)कोनिकालकरटुकड़ोंमेंबांटकरशोधकियागया।प्रजननकालसेपहलेऔरबादकीअपेक्षाप्रजननकालमेंस्मृतिकेंद्रकेआकारमेंबदलावमिला।

By Duncan