संवादसूत्र,कंचौसी:ग्रामढिकियापुरकेलोगोंकीपरेशानीगांवकेबीचसेहोकरनिकलेनालेकेकीचड़सेबढ़तीजारहीहैं।वायरलबुखारवसंक्रमणकीभीसंभावनाबढ़गईहै।

गांवकीआवादीकरीब2हजारहै।ग्रामीणोंकाकहनाहैकिगांवकेबीचसेनिकलेसिचाईविभागकेनालेकीसफाईपरप्रशासनवविभागकेअधिकारीध्याननहींदेरहेहैं।गंदगीकेकारणलोगोंकीदिक्कतेंदिनप्रतिदिनबढ़रहीहैं।जिनलोगोंकेमकाननालेकेपासस्थितहैं,सबसेअधिकपरेशानीहै।मच्छरोंकीवजहसेग्रामीणोंकोमलेरिया,डेंगूजैसीबीमारियांफैलनेकाडरसतारहाहै।ग्रामप्रधानविनोदकुमारनेबतायाकिअधिकारियोंवकर्मचारियोंकीलापरवाहीकेचलतेनालेकीसफाईनहींहोपारहीहै।जहरीलेकीड़ेवनालेकेआसपासकटीलीझाड़ियांउगआईहैं।सफाईकीमांगकईबारकीजाचुकीहै।लेकिनइसओरध्याननहींदियाजारहाहै।बृजेशबाथमनेबतायानालेकीसफाईकईसालोंसेनहींहुईहै।मच्छरोंकेकाटनेसेकईलोगबुखारसेपीड़ितभीहोचुकेहैं।मुकेशकुमारकहतेहैंकिकीचड़कीबदबूसेघरोंमेंरहनामुश्किलहै।

By Douglas